अत्यधिक रासायनिक खाद न तो जमींन के लिए अच्छी है और न ही फसल के लिए-जिला कृषि अधिकारी 

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औरैया 14 नवम्बर 24- जिला कृषि अधिकारी शैलेन्द्र कुमार वर्मा ने अवगत कराया है कि कृषि क्षेत्र में असन्तुलित मात्रा में रासायनिक उर्वरकों का उपयोग किये जाने के कारण मृदा स्वास्थ्य एवं पर्यावरण पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ रहा है एवं मृदा की उर्वरा शक्ति भी कम हो रही है। किसान भाइयों को सलाह दी जाती है, कि रबी फसलों की बुवाई में मृदा परीक्षण के उपरान्त संस्तुति मात्रा के अनुसार उर्वरकों का प्रयोग करें।  दिनांक-14.11.2024 को जनपद में 1090 मै. टन डी०ए०पी०, 744 मै० टन एन०पी०के०, 679 मै०टन एस०एस०पी०, 16127मै० टन यूरिया और 223 मै० टन एम०ओ०पी० उपलब्ध है।  दिनांक-14.11.2024 को इफको कम्पनी की डी०ए०पी० एवं एन०पी०के० सहित कुल 1084 मै०टन० इटावा रैक प्वाइट से प्राप्त होगी। कृभको कम्पनी की टी०एस०पी० (ट्रिपल सुपर फॉस्फेट) 670.400 मी०टन० इटावा रैक प्वाइंट से आज जनपद को प्राप्त हो गयी है जिसमें से 555 मै०टन 36 साधन सहकारी समितियों पर, प्रेषित कराते हुये जिलाधिकारी महोदय के स्तर से तहसील एवं न्याय पंचायतवार कृषि, सहकारिता एवं राजस्व विभाग के अधिकारियों एवं कर्मचारियों की डयूटी लगाकर वितरण कराया जा रहा है। साथ ही जिलाधिकारी महोदय, मुख्य विकास अधिकारी एवं समस्त उप जिलाधिकारी औरैया सहित अन्य अधिकारियों द्वारा भी उर्वरक वितरण नियमानुसार कराने हेतु उर्वरक प्रतिस्ठानों का निरीक्षण भी किया जा रहा है।  दिनांक 14.10.2024 को इटावा रैक प्वाइट से इफको कम्पनी की डी०ए०पी० एवं एन०पी० के० सहित कुल 1084 मै०टन० प्राप्त हो रहा है अब जनपद में फास्फेटिक उर्वरक की उपलब्धता संतोषजनक है। किसान भाई अपने नजदीकी साधन सहकारी समिति/निजी उर्वरक बिक्री केन्द्र से आवश्यकतानुसार उर्वरक क्रय कर सकते हैं। किसान भाइयों को सलाह दी जाती है, कि फसल के अनुरूप जब जरूरत हो तभी खाद खरीदें ज्यादा दिन पहलें से खाद खरीदकर न रखें, जिससे किसी भी प्रकार अव्यवस्था उत्पन्न न हों। किसान भाइयों को सलाह दी जाती है, कि उर्वरक क्रय करने हेतु अपना आधार कार्ड तथा खतौनी अवश्य लेकर जायें। कृषक भाइयों को सलाह दी जाती है कि, डी०ए०पी० एवं यूरिया के विकल्प के तौर पर नैनो डी०ए०पी० एवं नैनो यूरिया के प्रयोग को बढ़ावा दिया जाये। उर्वरक से सम्बन्धित कृषक की शिकायत का संज्ञान लेते हुए मै० आयुष खाद बीज भण्डार, कंचौसी मोड़ औरैया का लाइसेंस निलम्बित किया गया। जनपद के समस्त सहकारी एवं निजी क्षेत्र के उर्वरक विक्रेताओं को निर्देशित किया जाता है कि, कृषकों को उनकी जोत एवं फसल की संस्तुति के आधार पर ही उर्वरक का वितरण करें। यदि उर्वरक भण्डारण एवं वितरण में किसी प्रकार की अनियमितता प्रकाश में आती है, तो सम्बन्धित के विरूद्ध उर्वरक (नियत्रंण) आदेश 1985 व उर्वरक (संचलन) नियत्रण आदेश-1973 तथा आवश्यक वस्तु अधिनियम 1955 के तहत कठोर कार्यवाही अमल में लायी जायेगी। यदि किसी किसान भाई को उर्वरक से सम्बन्धित कोई समस्या हो तो कार्यालय में स्थापित कन्ट्रोल रूम न0-05683-299006 पर या लिखित रूप में अपनी शिकायत दर्ज कर सकते हैं।

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